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भारत बनाम बांग्लादेश दूसरा टेस्ट: भारत की जीत की ओर नजर, बांग्लादेश संघर्षरत, चौथे दिन स्टंप्स तक 26/2 पर लड़खड़ाया

ग्रीन पार्क स्टेडियम, कानपुर में भारत और बांग्लादेश के बीच दूसरे टेस्ट मैच के चौथे दिन का खेल समाप्त होते ही माहौल में तनाव साफ झलक रहा था। बांग्लादेश 26/2 के स्कोर पर संघर्ष कर रहा था और अभी भी 26 रन से पीछे था, जिससे मैच के अंतिम दिन रोमांच अपने चरम पर पहुंच गया। भारत, जिसने पहली पारी में 52 रनों की बढ़त हासिल की थी, ने शानदार गेंदबाजी का प्रदर्शन किया और बांग्लादेश के शीर्ष क्रम को दबाव में डाल दिया। पांचवां और अंतिम दिन बांग्लादेश के लिए सीरीज हार से बचने का आखिरी मौका होगा, जबकि भारत तेज जीत दर्ज करने की ओर बढ़ेगा।


India VS Bangladesh on 2nd test highlights

भारत की जुझारू बल्लेबाजी: जीत के लिए आवश्यक बढ़त हासिल करना


दिन 4 की सुबह भारत ने अपनी दूसरी पारी 144/5 के स्कोर से शुरू की, तब भी उसके पास केवल 92 रनों की मामूली बढ़त थी। ऐसे में भारतीय बल्लेबाज जानते थे कि हर एक रन अहम होगा क्योंकि पिच में असमान उछाल और टर्न आ चुका था। कप्तान रोहित शर्मा, जिन्होंने भारत की पारी को संभाला, ने अर्धशतक लगाकर स्थिरता प्रदान की। उनका 54 रन का संयमित स्कोर 145 गेंदों में आया, जो दर्शाता है कि उन्होंने कठिन परिस्थितियों में कैसे टिककर रन बनाए।


चेतेश्वर पुजारा, जो टेस्ट क्रिकेट में अपनी धैर्यशीलता के लिए जाने जाते हैं, ने भी 46 रनों की महत्वपूर्ण पारी खेली। हालांकि उनकी बल्लेबाजी ज्यादा प्रवाहमयी नहीं थी, लेकिन उन्होंने बांग्लादेशी गेंदबाजों को थकाने में अहम भूमिका निभाई और भारत की बढ़त को बरकरार रखा।


जब लग रहा था कि भारत मजबूत स्थिति में पहुंच रहा है, तब बांग्लादेश के स्पिनरों ने बाजी पलट दी। मेहदी हसन मिराज, जिन्होंने पहली पारी में भारतीय बल्लेबाजों को परेशान किया था, ने एक बार फिर शानदार गेंदबाजी का नमूना पेश किया। उनकी उड़ती, तेज़ और घूमती गेंदों ने भारतीय निचले क्रम को हैरान कर दिया, जिससे भारत की पारी अचानक बिखर गई। मिराज ने टेस्ट क्रिकेट में अपना सातवां पांच विकेट हॉल लिया और 5/74 के शानदार आंकड़े के साथ समाप्त किए। उनकी इस शानदार गेंदबाजी ने भारत को 204 रनों पर रोक दिया, जो लक्ष्य बांग्लादेश के लिए संभव लेकिन मुश्किल था।


मेहदी हसन मिराज का जादू: बांग्लादेश के लिए एकमात्र सकारात्मक पक्ष


दिन 4 पर मेहदी हसन मिराज का प्रदर्शन बांग्लादेश के लिए सबसे बड़ी उपलब्धि थी। उन्होंने चौथे दिन की पिच का शानदार उपयोग किया और भारतीय बल्लेबाजों के लिए मुश्किलें खड़ी कीं।


सबसे अहम क्षण तब आया जब उन्होंने रोहित शर्मा को आउट किया, जो भारत को मजबूत स्थिति में ले जाने की ओर बढ़ रहे थे। मिराज की एक तीखी टर्न लेती गेंद ने रोहित को चौंका दिया और उन्हें आउट कर दिया, जिससे भारतीय पारी के पतन की शुरुआत हुई। इसके बाद मिराज ने जल्दी-जल्दी विकेट चटकाए, जिनमें रविंद्र जडेजा भी शामिल थे, जिन्हें एक शानदार टर्न लेती गेंद ने बोल्ड कर दिया।


बांग्लादेश के गेंदबाजों ने, खासतौर पर मिराज ने, अपनी जिम्मेदारी बखूबी निभाई और अपनी टीम को एक मौका दिया। अब यह उनके बल्लेबाजों पर था कि वे इस लक्ष्य को हासिल कर पाते या नहीं।


भारत का गेंदबाजी आक्रमण: शुरुआती झटकों से बनाया दबाव


पहली पारी में सिर्फ 52 रनों की बढ़त के साथ, भारत जानता था कि उसे गेंद से मजबूत शुरुआत करनी होगी। मोहम्मद सिराज और जसप्रीत बुमराह ने भारत के लिए वही किया जिसकी जरूरत थी। सिराज, जो अपनी आक्रामकता और स्विंग कराने की क्षमता के लिए जाने जाते हैं, ने बांग्लादेश की दूसरी पारी में जल्दी विकेट चटकाए।


महामुदुल हसन जॉय का विकेट सिराज की एक शानदार गेंद पर गिरा। गेंद गुड लेंथ पर पड़ी, सीम से हल्की बाहर गई और बल्ले का किनारा लेकर स्लिप में पकड़ी गई। बांग्लादेश ने सिर्फ 10 रन के स्कोर पर पहला विकेट खो दिया।


इसके बाद जसप्रीत बुमराह, जो भारत के प्रमुख तेज गेंदबाज हैं, ने भी आक्रमण तेज किया। उन्होंने तेजी और सटीकता के साथ गेंदबाजी की, जिससे बांग्लादेश के बल्लेबाज परेशान होते रहे। शादमान इस्लाम, जो बांग्लादेश के दूसरे सलामी बल्लेबाज थे, बुमराह की एक बाउंस खाती गेंद पर विकेटकीपर केएस भरत को कैच दे बैठे।


बांग्लादेश 26/2 पर सिमट गया और चौथे दिन का खेल खत्म होने तक भारत के गेंदबाजों ने पूरी तरह से मैच पर पकड़ बना ली।


बांग्लादेश की बल्लेबाजी फिर से लड़खड़ाई


पूरे सीरीज में बांग्लादेश की बल्लेबाजी कमजोर रही है, और कानपुर टेस्ट की दूसरी पारी में भी यही देखने को मिला। दो शुरुआती विकेट गिरने के बाद टीम दबाव में आ गई, और अब उनकी उम्मीदें अनुभवी मध्यक्रम बल्लेबाजों पर टिकी हैं।


कप्तान शाकिब अल हसन और मुशफिकुर रहीम बांग्लादेश के लिए आखिरी उम्मीद हैं। दोनों अनुभवी बल्लेबाज हैं और दबाव को झेलने का अनुभव रखते हैं।


शाकिब, जो आक्रामक अंदाज से खेलते हैं, को संतुलन बनाना होगा ताकि टीम जल्दी विकेट न गंवाए। वहीं, मुशफिकुर रहीम अपनी तकनीकी कुशलता के लिए जाने जाते हैं और उन्हें यहां अपनी टीम को बचाने के लिए लंबी पारी खेलनी होगी।


अंतिम दिन का पूर्वावलोकन: क्या बांग्लादेश मुकाबला कर पाएगा?


अब मैच का समीकरण सीधा है—बांग्लादेश को भारत की बढ़त को मिटाने के लिए 26 रन और बनाने हैं, जबकि भारत को सिर्फ 8 विकेट लेने हैं। ग्रीन पार्क की पिच पांचवें दिन तक और भी खराब हो जाएगी, जिससे बल्लेबाजी करना कठिन हो सकता है।


भारत के स्पिनर, विशेष रूप से रविचंद्रन अश्विन और रविंद्र जडेजा, इस पिच पर गेंदबाजी करने को लेकर उत्साहित होंगे। अश्विन अपनी फ्लाइट और विविधताओं से बाएं हाथ के बल्लेबाजों के लिए खतरनाक साबित हो सकते हैं, जबकि जडेजा की सटीकता और तेज़ स्पिन बल्लेबाजों को मुश्किल में डाल सकती है।


बांग्लादेश के लिए बचाव का एकमात्र तरीका शाकिब और मुशफिकुर की मजबूत साझेदारी होगी। अगर वे शुरुआती कुछ ओवर निकाल लेते हैं और भारतीय गेंदबाजों को निराश करते हैं, तो बांग्लादेश के पास ड्रॉ कराने का मौका हो सकता है। लेकिन भारत के तेज और स्पिन आक्रमण को देखते हुए, यह एक मुश्किल चुनौती होगी।


निष्कर्ष: रोमांचक फाइनल दिन की प्रतीक्षा

भारत और बांग्लादेश के बीच दूसरा टेस्ट एक कम स्कोर वाला लेकिन बेहद रोमांचक मुकाबला साबित हुआ है, और पांचवें दिन का खेल इस टेस्ट मैच को शानदार अंत देगा। क्या भारत के गेंदबाज अपना काम पूरा कर पाएंगे, या फिर बांग्लादेश कोई चमत्कारी संघर्ष कर पाएगा? क्रिकेट प्रेमियों के लिए यह मुकाबला देखने लायक होगा।

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